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मुकद्दर,तकदीर,किस्मत,इरादा,हिम्मत, कर्म
सब राह मे एक साथ मिले…..
उदासी,असफलता,निराशा,दुख,भय भी
साथ साथ ही चल पड़े….
हो जाता है,इंसान के मन और दिमाग मे
इन दो तरह की मनोवृत्तियों का आमना सामना…..
मुश्किल होता होगा इंसानों के लिये
इन अलग-अलग तरह की मानसिक स्थितियों मे
खुद को सँभालना…..
उलझे हुए विचार नकारात्मकता के साथ
सबसे आगे आगे भागते हैं…..
पकड़ने पर इंसानों के हाथों से बार बार
फिसल जाते हैं….
अहम् इनके साथ मिठास की तरह घुल जाता है….
अपने आप को मानसिक अवस्था के
विकार के साथ सबसे आगे दिखाता है…..
ईश्वर भी इस तरह के विचारों से बार बार सचेतता है….
देकर संकेत विभिन्न माध्यमो से
व्यक्ति के विचारों को जाँचता और परखता है…
सृष्टि की रचना मे मानव जीवन का अलग ही स्थान है…..
इंसान के जीवन मे उसके सोच और विचार ही
उसकी सही पहचान है..,.
आत्मविश्वास और अहंकार के बीच मे
बड़ी कमजोर सी दीवार है…
तरह तरह के विचार सकारत्मकता को
ढँकते जाते हैं….
अपने पीछे धूल की तहों के बीच मे
लपेटते जाते हैं…..
इंसान प्रभावी और अप्रभावी विचारों के साथ
चलता जाता है….
अचानक से सकारात्मक विचार तीव्रता से आते हैं….
अपने साथ साथ हिम्मत, मेहनत,कर्म और
खुशी को भी लाते हैं….
व्यक्ति अपने आप को आत्मविश्वास से सजाता है….
तमाम तरह की कृत्रिम चीजों को भूल जाता है….
सकारात्मकता के सामने आते ही नकारात्मक विचार
अप्रभावी दिखते हैं….
सकारात्मक विचारों के साथ व्यक्ति सजते और सँवरते हैं….
सफलता अपने मार्ग को खोलती दिखती है…..
तमाम तरह की विघ्न और बाधाओं को विपरीत दिशा मे
मोड़ देती है……
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Encouraging lines.
Thanks☺
Truly amazing . 👍